Wednesday 28 November 2012

देख सगाई


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लाल फूल पे ,
जब तितली डोले,
देख सगाई
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दौड़ के पानी ,
सागर में पहुंचा,
देख मिताई .
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जड़ें ईख की ,
है खेत में गहरी,
देख ढिटाई .
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पके पत्र हैं,
उड़ते चिड़िया से,
देख विदाई.
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नव कोंपल,
हर शाख पे झूमे,
देख बधाई.
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